चेन्नई : प्रदेश में सृजन के लिए राज्य सरकार लगातार प्रयास कर रही है। इसके लिए प्रदेश स्तर पर करियर गाइडेंस केन्द्रों की स्थापना की जा रही है। वित्त मंत्री ने बजट भाषण में बताया कि रोजगार कार्यालयों को पहले ही प्रदेश में आधुनिक बनाया जा चुका है। इन्हें प्लेसमेन्ट केन्द्रों से जोड़ा जा चुका है। वर्ष 2017-18 में बेरोजगार युवाओं को रोजगार भत्ता दुगुना किया जा चुका है। इसके लिए बजट में 31.01 करोड़ की राशि उपलब्ध कराई गई है। प्रदेश का करियर गाइडेंस केन्द्र सीधे जिला मुख्यालयों से जुड़ा रहेगा। आनलाइन पोर्टल के माध्यम से रोजगार चाहने वालों, विभिन्न कंपनियों एवं निजी प्लेसमेन्ट एजेंसियों से सीधा जुड़ा रहेगा। राज्य सरकार ने बेरोजगार युवाओं की काउन्सलिंग कराने की विशेष व्यवस्था की है। उनकी क्षमता को कौशल दक्षता विकास केन्द्रों के मार्फत विकसित किया जाएगा। रोजगार कार्यालयों में पंजीकृत ऐसे युवा विभिन्न प्लेसमेन्ट कंपनियों के जरिए रोजगार हासिल कर सकेंगे।
प्रदेश के 88 राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आईटीआई), 484 निजी आईटीआई, 385 औद्योगिक स्कूलों के माध्यम से वोकेशनल प्रशिक्षण मुहैया करवाया जाएगा। इन 88 राजकीय आईटीआई में से 26 राष्ट्रीय व्यावसायिक प्रशिक्षण परिषद से संबंध किया जाएगा। इन 26 आईटीआई को 126 करोड़ की लागत से अपग्रेड किया जाएगा।
इसके साथ ही कई नए पाठ्यक्रम शुरू किए जाएंगे। इनमें मेडिकल इलेक्ट्रानिक्स, एडवांस मशीन टूल्स, टूल एवं डाई मेकिंग, पावर इलेक्ट्रानिक्स एवं आर्किटेक्चरल असिस्टेन्स शामिल है। ये पाठ्यक्रम 20 आईटीआई में खोले जाएंगे जिन पर 38 करोड़ का खर्च आएगा। इससे आईटीआई विद्यार्थियों की प्रतिभा उभर कर सामने आ सकेगी और उनके लिए अवसर बढ़ जाएंगे। औद्योगिक इकाइयों के साथ इनटर्नशिप कार्यक्रम शुरू किए जाएंगे। इसके लिए 10 हजार विद्यार्थियों को इन इकाइयों के माध्यम से जरूरी कौशल दिया जाएगा।
तमिलनाडु कौशल विकास मिशन के लिए राज्य सरकार ने तमिलनाडु कौशल विकास निगम को नोडल एजेंसी बनाया है। इस मिशन के तहत 4.32 लाख युवाओं को प्रशिक्षित किया गया है। 1.03 लाख लोगों को रोजगार मिल चुका है। मैसर्स साइमन्स लिमिटेड के साथ नया उच्च स्तरीय प्रशिक्षण कार्यक्रम लांच किया गाया है।
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