10 सरकारी विभागों ने कौशल विकास योजना के तहत बेरोजगारों को ट्रेनिंग देने के लिए कराया रजिस्ट्रेशन, लेकिन साल भर बाद भी ट्रेनिंग के नाम पर किया कुछ भी नहीं

बिलासपुर : जिले के 10 सरकारी विभागों ने बेरोजगारों को स्वरोजगार का गुर सिखाने के लिए रजिस्ट्रेशन तो करा लिया, लेकिन साल भर बाद भी ट्रेनिंग के नाम पर कुछ भी नहीं किया। यही नहीं, बायोमैट्रिक्स को वेबपोर्टल से भी लिंकअप नहीं किया गया है। कलेक्टर ने इन विभागों का रजिस्ट्रेशन रद्द करने की अनुशंसा कर फाइल राज्य शासन को भेज दी है।

केंद्र सरकार नौकरी के बजाय युवाओं को स्वयं का व्यवसाय करने के लिए प्रेरित कर रही है। सरकार का मानना है कि नौकरी से सिर्फ खुद को रोजगार मिलता है, जबकि व्यवसाय से दूसरों को भी रोजगार दिया जा सकता है। इसी के तहत राज्य शासन ने बेरोजगार युवाओं को हुनरमंद बनाने के लिए मुख्यमंत्री कौशल विकास योजना लागू की है। योजना के तहत बेरोजगारों को कंप्यूटर एप्लीकेशन, कंप्यूटर हार्डवेयर, इलेक्ट्रिकल, विभिन्न ट्रेडों में आईटीआई, स्पोकन इंग्लिश आदि की ट्रेनिंग दी जानी है। इसके लिए सरकारी व प्राइवेट संस्थान को पंजीयन कराने की छूट दी गई है। एक युवा को एक घंटे ट्रेनिंग देने के एवज में संबंधित संस्थान को शासन की ओर 30 रुपए दिए जाएंगे। एक ट्रेड की ट्रेनिंग अवधि कम से कम 200 घंटे होनी चाहिए। शासन के निर्देश पर बिलासपुर जिले के विभिन्न विभागाें ने कौशल विकास योजना का रजिस्ट्रेशन कराया। जिले के 10 विभाग ऐसे हैं, जिन्होंने पंजीयन कराने के बाद सालभर में एक भी बेरोजगार को ट्रेनिंग नहीं दी। इनमें शीशल प्रक्षेत्र, केटल फार्म पकरिया, कृषि विज्ञान केंद्र कोनी, गवर्नमेंट आईटीआई खम्हरिया, गौरेला, बिल्हा, तखतपुर, प्रौद्योगिकी ग्राम केंद्र बाढ़ा, रेशम विभाग बिलासपुर शामिल हैं। इन विभागों ने विभाग से संबंधित प्रशिक्षण देने के लिए ही रजिस्ट्रेशन कराया था। पिछले दिनों इन विभागों को जिला कौशल विकास प्राधिकरण के सहायक संचालक ने नोटिस जारी कर तत्काल ही ट्रेनिंग शुरू करने व बायोमैट्रिक्स को वेबपोर्टल से लिंकअप करने कहा था, लेकिन किसी भी विभाग ने इस आेर ध्यान नहीं दिया। इस वजह से कलेक्टर ने सभी 10 विभागों का पंजीयन रद्द करने प्रक्रिया शुरू कर दी है।

दबाव में कराया रजिस्ट्रेशन

कलेक्टर ने शासन को भेजी गई फाइल में कहा है कि इन 10 विभागों ने दबाव में आकर कौशल विकास योजना के तहत बेरोजगारों को ट्रेनिंग देने के लिए रजिस्ट्रेशन तो करा लिया है, लेकिन अब तक इन्होंने ट्रेनिंग के लिए किसी तरह के संसाधन नहीं जुटाए हैं। इन विभागों ने बेरोजगारों का पंजीयन भी नहीं कराया है।

कार्रवाई शासन स्तर पर होगी

बार-बार नोटिस के बाद भी 10 सरकारी विभागों ने ट्रेनिंग की प्रक्रिया भी शुरू नहीं की है। इसलिए कलेक्टर ने इन विभागों का पंजीयन निरस्त करने के लिए शासन को पत्र लिखा है। इन विभागों पर कार्रवाई शासन स्तर पर होगी। -ओम पांडेय, सहायक संचालक, जिला कौशल विकास प्राधिकरण

4 संस्थाओं का रजिस्ट्रेशन रद्द

राज्य शासन ने 4 संस्थाआें ज्योति ग्रामीण सेवा संस्थान करबला रोड, महाकौशल विकास समिति मोहन चाल पेंड्रा, गोकुल कमला मेमोरियल शिक्षण समिति गोंडपारा व आेंकार प्राइवेट लिमिटेड दयालबंद का रजिस्ट्रेशन रद्द किया है। चारों संस्थाओं ने कौशल विकास योजना के तहत प्रशिक्षण देने के लिए रजिस्ट्रेशन तो करा लिया था, पर छह माह में कोई गतिविधि नहीं की।

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